हेलो दोस्तों मैं यहाँ आपको ग्रामीण समाजशास्त्र के पाठ का विवरण दे रहा हूँ। यह पाठ विवरण तालिका आपको एक-एक करकै पाठ को पढ़ने में मदद करेगी। मैं आशा करता हूँ आपको इस तरह से पाठ को ढ़ढने में कोई दिक्कत का सामना नहीं करना पड़ेगा।

 

 पाठ /
Chapter

     ग्रामीण समाजशास्त्र / Rural Sociology

1

ग्रामीण समाजशास्त्र का महत्व और विकास

2

कृषक समाज की अवधारणा को स्पष्ट कीजिए

3

कृषक समाज तथा भारतीय कृषक समाज की विशेषता

4

भारतीय ग्रामीण सामाजिक संरचना क्या है?

5

ग्रामीण समाज में विद्यमान शक्ति संरचना

6

लोक संस्कृति का अर्थ, परिभाषा, विशेषताएं

7

जाति का अर्थ, परिभाषा तथा विशेषता

8

धर्म के अर्थ, परिभाषा,लक्षण एवं विशेषता

9

स्वतंत्रता के बाद ग्रामीण समाज में परिवर्तन

10

भारत की विविधता में एकता कैसे है

11

हिन्दू विवाह क्या है,अर्थ,उद्देश्य व विशेताएं

12

परिवार क्या हैं,अर्थ,परिभाषा व विशेषताएं

13

भूदान आंदोलन के प्रणेता कौन थे?

14

भूमि सुधार का क्या अर्थ है इसके उद्देश्य,महत्व

15

भूमिहीन/कृषि मजदूर किसे कहते हैं?, इनकी समस्याएँ

16

भूदान यज्ञ का कार्यक्रम,महत्व तथा लाभ

17

ग्रामीण विकास में पंचायती राज की भूमिका की विवेचना

18

ग्रामीण पुनर्निर्माण और नियोजन की परिभाषा,उद्देश्य

19

ग्रामदान आंदोलन किसने चलाया

20

सामुदायिक विकास कार्यक्रम की असफलता का कारण

21

आधुनिकीकरण की विशेषताओं की विवेचना कीजिए

22

संस्कृतिकरण का अर्थ | संस्कृतिकरण पर निबंध

23

जल संसाधन क्या है जल संसाधन की आवश्यकता

24

प्रदूषण क्या है,पर्यावरण प्रदूषण के प्रकार

25

वैश्वीकरण क्या है? भारत में वैश्वीकरण का नकारात्मक प्रभाव